हरिशरणम् में बही काव्य सरिता
कनाडा निवासी वरिष्ठ साहित्यकार गोपाल बघेल ‘मधु’ के सम्मान में हुई काव्य गोष्ठी

देहरादून: ‘हृदयांगन’ साहित्यिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक संस्था तथा ‘जीवन्ती’ देवभूमि साहित्यिक एवं सामाजिक संस्था के संयुक्त तत्वावधान में शुक्रवार देर शाम को हरिशरणम् होमस्टे, किशनपुर, कैनाल रोड, देहरादून में एक भव्य कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता हृदयांगन तथा जीवन्ती समूह की राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. विद्युत प्रभा चतुर्वेदी ‘मंजू’ जी ने किया।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि टोरंटो, कनाडा निवासी वरिष्ठ साहित्यकार गोपाल बघेल ‘मधु’ की उपस्थिति रही।
विशिष्ट अतिथि के रूप में कुमार विजय द्रोणी, डॉली डबराल तथा शिवमोहन सिंह उपस्थित रहे।
कार्यक्रम का शुभारंभ माँ वीणापाणी की मंगल वंदना से हुआ, जिसे झरना माथुर जी ने सुमधुर स्वर में प्रस्तुत किया।
कार्यक्रम का संचालन ‘जीवन्ती’ देवभूमि की संस्थाप कविता बिष्ट ‘नेह’ ने किया।
श्रावन मास की पावन बेला में शिव-भक्ति एवं हरियाली उत्सव की भावधारा से ओतप्रोत यह आयोजन भाव-सौंदर्य की ऊँचाइयों को स्पर्श करता रहा। काव्य-पाठ की माधुर्यपूर्ण प्रस्तुतियों ने श्रोताओं के हृदय में गूंजते हुए करतल ध्वनि से सभागार को संजीवनी दी तथा वहाँ एक दिव्य सकारात्मक ऊर्जा का संचार हुआ।
इस अवसर पर शिव चरण शर्मा और भारती मिश्रा समेत सभी कवियों ने वीर रस, शृंगार रस, ग़ज़ल, गीत और नवाचार युक्त काव्य-पाठ कर इस सांझ को अविस्मरणीय बना दिया। विशेषकर, कनाडा से पधारे गोपाल बघेल ‘मधु’ ने आध्यात्मिक भावों से परिपूर्ण काव्य पाठ के माध्यम से वातावरण को भावविभोर कर दिया।
हृदयांगन संस्था के संस्थापक व महासचिव डॉ. विधुभूषण त्रिवेदी जी का शुभाशीष प्राप्त हुआ। अध्यक्षीय उद्बोधन में डॉ. विद्युत प्रभा ‘मंजू’ जी ने सभा को सार्थकता प्रदान की। संस्था की प्रदेश अध्यक्ष कविता बिष्ट ‘नेह’ ने सभी अतिथियों का आभार जताया।