उत्तराखंडधरना-प्रदर्शन

नाराज ठेकेदारों ने लोनिवि कार्यालय पर किया प्रदर्शन 

-उपजिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को भेजा ज्ञापन, मांगे न माने जाने पर व्यापक आंदोलन की दी चेतावनी 

   देहरादून/ऋषिकेश : लंबे समय बाद भी लंबित मांगें पूरी न होने से नाराज ठेकेदारों ने मंगलवार को ठेकेदार वेलफेयर सोसायटी के बैनर तले लोक निर्माण विभाग के ऋषिकेश स्थित कार्यालय पर प्रदर्शन किया। इस दौरान ठेकेदारों ने जहां अधिशासी अभियंता का ध्यान आकर्षित किया, वहीं एसडीएम के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर मांगों पर ठोस कदम उठाने की मांग की, ताकि ठेकेदार वित्तीय संकट से बाहर निकल सकें।

कहा गया है कि निविदाओं के बहिष्कार का असर विकास कार्यों पर पड़ रहा, बावजूद इसके अधिकारी सुनवाई नहीं कर रहे हैं। आरोप लगाया कि बड़े ठेकेदारों को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से छोटे ठेकेदारों की मांगों को अनदेखा किया जा रहा है। मांगे न माने जाने की स्थिति में व्यापक आंदोलन की भी चेतावनी दी।

 संगठन के अध्यक्ष पिंकेश सैनी ने बताया कि फिलहाल पूरे प्रदेश में निविदाओं का बहिष्कार किया जा रहा है। ज्ञापन में कहा गया है कि ठेकेदारों से रायल्टी न काटकर रेता-बजरी के बिल की कापी मांगनी चाहिए, क्योंकि ठेकेदार सप्लायर से माल खरीदता है। उन्होंने कहा कि छोटी-छोटी निविदाओं को मिलाकर बड़ी निविदा जारी की जा रही है, जो छोटे ठेकेदारों के हित में उचित नहीं है। ठेकेदारों ने विभिन्न विभागों में पंजीकरण प्रक्रिया भी सरल बनाने की मांग की। साथ ही बिल भुगतान की प्रक्रिया को लेकर भी आक्रोश जताया। ठेकेदारों का कहना था कि उन्हें एक बिल पास कराने के लिए तमाम टेबल पर जाना पड़ता है, जबकि यह काम कर्मचारियों का है। उन्होंने बिल भुगतान की समय-सीमा तय करने की मांग की। उन्होंने कहा कि चार-चार साल पुराने बिलों का भुगतान नहीं किया गया है, जिससे ठेकेदारों के सामने आर्थिक संकट पैदा हो गया है। चेतावनी दी कि यदि बिल भुगतान समेत तमाम लंबित मांगें न मानी गई, तो व्यापक आंदोलन किया जाएगा। धरना-प्रदर्शन में पिंकेश सैनी के अलावा जितेन्द्र कुमार, रमेश रांगड़, घनश्याम रावत आदि शामिल थे।

 

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