सीएम से वार्ता में नहीं निकला नतीजा, आंदोलन जारी

देहरादून: उत्तराखंड में यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले को लेकर बेरोजगार युवाओं का आंदोलन जारी है। उत्तराखंड बेरोजगार संघ के बैनर तले सैकड़ों युवा परेड ग्राउंड के पास स्थित सड़क के किनारे सोमवार से धरने पर बैठे हुए हैं। मंगलवार को बेरोजगार संघ के डेलिगेशन ने मुख्यमंत्री पुष्कर धामी से अपनी मांगों को लेकर मुलाकात की, लेकिन कोई ठोस नतीजा नहीं निकला। इसके बाद उत्तराखंड बेरोजगार संघ ने आंदोलन जारी रखने का आह्वान किया है।
सीएम धामी के सामने बेरोजगार संघ ने रखी ये मांगें: उत्तराखंड बेरोजगार संघ के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बॉबी पंवार ने कहा कि बेरोजगार संघ के डेलिगेशन ने मुख्यमंत्री पुष्कर धामी से मिलकर युवाओं की तमाम मांगों को उनके समक्ष रखा। डेलिगेशन में प्रमुख रूप से पेपर लीक मामले की सीबीआई जांच कराने और परीक्षा को तत्काल निरस्त कर दोबारे से करवाने की मांग रखी गई। इसके अलावा जिस महिला पर जोर जबरदस्ती मुकदमा दर्ज किया है, उस मुकदमे को वापस लिए जाने की भी मांग रखी गई है।
बॉबी पंवार ने कहा कि सीएम धामी से भर्ती परीक्षाओं में पारदर्शिता बरते जाने का भी आग्रह किया गया है। इसको लेकर युवाओं ने कुछ मांगों के लिए दिन का समय और कुछ मांगों के लिए रात तक का समय दिया था, लेकिन उनकी मांगों की दिशा में कोई बात बनती भी दिखाई नहीं दे रही है। इसलिए उन्होंने अपने आंदोलन को जारी रखने का निर्णय लिया है। बॉबी पवार ने कहा कि जब तक इन मांगों का निस्तारण नहीं होता है, तब तक बेरोजगार युवा सड़क पर इसी तरह धरने पर बैठे रहेंगे।
बता दें कि बीती 21 सितंबर 2025 को उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की स्नातक स्तरीय पदों के लिए लिखित परीक्षा हुई थी, लेकिन परीक्षा शुरू होने के करीब आधे घंटे के भीतर ही प्रश्न पत्रों से जुड़े स्क्रीनशॉट्स सामने आ गए, जिसे लेकर हड़कंप मच गया। मामले ने तूल पकड़ा तो एसआईटी गठित की गई, फिर जांच शुरू की गई, जिसके तहत असिस्टेंट प्रोफेसर सुमन का नाम सामने आया, जिसके पास सबसे पहले प्रश्न पत्र आया था।
सुमन का कहना था उसे खालिद मलिक ने उसे प्रश्न पत्र भेजे थे. जिसमें खालिद मलिक ने कहा था कि उसकी बहन प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रही है, इसके लिए प्रश्नों के जवाब चाहिए. जिस पर प्रोफेसर सुमन ने भी जवाब दे दिए। इसके बाद पुलिस ने खालिद मलिक और उसकी बहन को रडार पर लिया। जिसके तहत पुलिस ने खालिद की दो बहन हिना और साबिया को हिरासत में लिया. जिसमें हिना को तो छोड़ दिया, लेकिन साबिया को गिरफ्तार कर लिया गया।
इसके अलावा कुछ अन्य लोगों को भी हिरासत में लिया गया। वहीं, मुख्य आरोपी खालिद मलिक की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की पांच टीमें गठित की गई, जिसके तहत 23 सितंबर को खालिद मलिक को हरिद्वार से दबोच लिया गया है। बता दें कि यूकेएसएसएससी स्नातक स्तरीय परीक्षा से ठीक एक दिन पहले नकल माफिया हाकम सिंह
की भी गिरफ्तारी हुई थी। आरोप था कि हाकम सिंह अभ्यर्थियों से 15-15 लाख रुपए मांग रहा था। हाकम की गिरफ्तारी के बाद ही परीक्षा की पारदर्शिता को लेकर सवाल उठने लग गए थे।